कलारचना

अभिव्यक्ति की आजादी से बॉलीवुड खुश

मुंबई | मनोरंजन डेस्क: सर्वोच्य न्यायालय द्वारा अभिव्यक्ति की आजादी के लिये आईटी एक्ट की धारा 66ए को निरस्त किये जाने का बॉलीवुड ने स्वागत किया है. बॉलीवुड के संजय गुप्ता, मधु भंडारकर तथा प्रीतीश नंदी ने इसका स्वागत करते हुये ट्वीट किया है. प्रीतीश नंदी ने इसे शानदार उपलब्धि कहा है. सूचना एवं प्रौद्योगिकी अधिनियम की धारा 66ए को समाप्त करने के सर्वोच्च न्यायालय के मंगलवार के फैसले के बाद माइक्रो-ब्लॉगिंग साइट ट्विटर पर इसका स्वागत करने वालों का तांता लग गया है. हिंदी फिल्म जगत के मशहूर फिल्म निर्देशक मधुर भंडारकर और संजय गुप्ता ने इस फैसले का स्वागत करते हुए कहा कि इससे आजादी की अभिव्यक्ति की सुरक्षा हुई है.

सर्वोच्च न्यायालय ने कहा कि धारा 66ए संविधान के अनुच्छेद 19(1) ए का उल्लंघन है, जो भाषण और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता की गारंटी देता है.

‘फैशन’, ‘पेज3’ और ‘कॉर्पोरेट’ जैसे सामाजिक मुद्दों पर शानदार फिल्में बना चुके भंडारकर ने कहा कि यह फैसला लोकतांत्रिक देश के सिद्धांतों पर खरा उतरता है.

भंडारकर ने ट्वीट कर कहा, “सर्वोच्च न्यायालय द्वारा आईटी अधिनियम की धारा 66ए को समाप्त करने का यह फैसला ऐतिहासिक है. लोकतंत्र में भाषण एवं अभिव्यक्ति की आजादी को जारी रखने के लिए यह एकदम सटीक है.”

‘शूटआउट एट वडाला’ फिल्म के निर्देशक संजय गुप्ता ने ट्वीट किया, “धारा 66ए निरस्त. एक अच्छी खबर.”

इस फैसले का स्वागत करने वाले अन्य लोगों में फिल्म निर्माता प्रीतीश नंदी भी हैं. उन्होंने लिखा, “सर्वोच्च न्यायालय ने आईटी अधिनियम की धारा 66ए के हानिकारक और कठोर कानून को निरस्त कर दिया है. इससे लोकतंत्र में हमारा विश्वास लौट आया है. क्या उपलब्धि है!”

‘फाइव पॉइन्ट समवन’, ‘द 3 मिस्टेक्स ऑफ माइ लाइफ’ और ‘2 स्टेट्स’ जैसी अपनी सर्वाधिक बिकने वाली किताबों के जरिए जन-जन तक अपनी आवाज पहुंचाने वाले लेखक चेतन भगत ने भी इस फैसले का स्वागत किया.

चेतन ने ट्वीट किया, “जानकर खुशी हो रही है कि मैं एक स्वतंत्र देश में रहता हूं. धारा 66ए नहीं रही. सर्वोच्च न्यायालय ने इसे निरस्त कर दिया है. बहुत खुश हूं.”

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