राष्ट्र

देश में फिर तूफान का खतरा

भुवनेश्वर | एजेंसी:ओडिशा में एक बार फिर तूफान का खतरा मंडरा रहा है. बंगाल की खाड़ी के पश्चिमी मध्य हिस्से के ऊपर बना गंभीर निर्वात तूफान हेलन में तब्दील हो गया है और इसके कारण बुधवार को ओडिशा के दो बंदरगाहों में तूफान की चेतावनी के संकेत जारी कर दिए गए हैं. भुवनेश्वर मौसम विज्ञान केंद्र के एक अधिकारी ने कहा कि राज्य के पारादीप और गोपालपुर बंदरगाहों में चेतावनी संकेत को पूर्व के एक से बढ़ाकर दो कर दिया गया है.

तूफान का केंद्र गोपालपुर से लगभग 520 किलोमीटर दक्षिण में स्थित है, जो गुरुवार को एक गंभीर चक्रवाती तूफान में तब्दील हो जाएगा.

अधिकारी ने कहा कि यह कुछ समय तक पश्चिम-उत्तर-पश्चिम की ओर बढ़ेगा और उसके बाद पश्चिम-दक्षिण-पश्चिम की ओर बढ़ेगा तथा लगभग गुरुवार रात श्रीहरिकोटा और अंगोला के बीच आंध्र प्रदेश के दक्षिणी तट को पार करेगा.

अधिकारी ने कहा कि राज्य के तट को कोई खतरा नहीं है, लेकिन कुछ स्थानों पर बारिश हो सकती है.

अधिकारी ने कहा कि ओडिशा के दक्षिणी तट के मछुआरों को समुद्र में मछली पकड़ने के दौरान सतर्क रहने की सलाह दी गई है, क्योंकि 30 से 40 किलोमीटर प्रति घंटे की हवा की रफ्तार 50 किलोमीटर प्रति घंटे में बदल सकती है.

इधर बंगाल की खाड़ी से उठे तूफान ‘हेलेन’ के आंध्र प्रदेश के कावली और श्रीहरिकोटा और ओंगोल के बीच के दक्षिणी तटवर्ती इलाके से गुरुवार की रात गुजरने की उम्मीद है.

भारतीय मौसम विज्ञान विभाग द्वारा बुधवार शाम जारी सूचना के अनुसार, हेलेन का केंद्र कावली से 430 किमी. पूर्व, मछलीपट्टनम से 330 किमी. पूर्व-दक्षिणपूर्व के बीच, और विशाखापट्टनम से 310 किमी. दक्षिण-दक्षिणपूर्व के बीच रहेगा.

आईएमडी के अनुसार, “अगले 24 घंटे में यह भयानक चक्रवाती तूफान का रूप ले लेगा. यह कुछ देर के लिए पश्चिम-पश्चिमोत्तर की ओर बढ़ेगा, और फिर इसके बाद पश्चिम-दक्षिणपश्चिम की ओर बढ़ेगा. यह गुरुवार की रात आंध्र प्रदेश के दक्षिणी तटवर्ती इलाके से होकर गुजरेगा.”

आईएमडी ने बुधवार की रात से ही आंध्र प्रदेश के तटवर्ती इलाके में कुछ हिस्सों में भारी से अति भारी बारिश की भविष्यवाणी की है. अगले दो दिनों में आंध्र के दक्षिणी तटवर्ती इलाकों में 25 सेमी. या इससे अधिक की अतिवृष्टि हो सकती है. इस दौरान आंध्र के दक्षिण तटवर्ती इलाकों में 55 से 65 किमी प्रति घंटा की रफ्तार से हवाएं चल सकती हैं, तथा इसके 75 किमी. प्रति घंटा तक भी पहुंचने की उम्मीद है. तटवर्ती इलाके से चक्रवात के टकराने के समय हवाओं की गति 100 से 110 किमी. प्रति घंटा तक भी पहुंच सकती है.

आईएमडी ने इस दौरान मछुआरों को समुद्र में जाने से पूरी तरह मना किया है. इसके अलावा समुद्र के किनारे झोपड़ियों में रहने वाले लोगों को सुरक्षित स्थानों पर चले जाने के लिए भी कहा गया है.

आईएमडी की चेतावनी मिलने के बाद राज्य सरकार ने तटवर्ती इलाकों में अलर्ट जारी कर दिया है, विशेषकर दक्षिणी तटवर्ती क्षेत्र में. आपदा प्रबंधन के आयुक्त सी. पार्थसारथी ने हैदराबाद में पत्रकारों को बताया कि चक्रवात के कारण होने वाले नुकसान को न्यूनतम करने के लिए आवश्यक सभी उपाय कर लिए गए हैं.

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