बिलासपुर

आज करवट लेगी छत्तीसगढ़ की राजनीति

त्वरित टिप्पणी | अन्वेषा गुप्ता: आज छत्तीसगढ़ के ठाठापुर तथा मरवाही में कांग्रेस की राजनीति नई करवट लेगी. उसी के साथ माना जा रहा है कि छत्तीसगढ़ की राजनीति भी करवट लेगी. छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री रमन सिंह के गांव ठाठापुर से अजीत जोगी परोक्ष रूप से भाजपा तथा अपरोक्ष रूप से कांग्रेस के खिलाफ़ ताल ठोकेंगे. वहीं कांग्रेस जोगी के गढ़ मरवाही में संभागीय सम्मेलन करके उनके ही घर से उसका जवाब देगी.

राजनीतिक प्रेक्षकों की नज़र इसी पर टिकी हुई है कि ठाठापुर में ज्यादा जमवाड़ा होता है या मरवाही में. इस बात की भी उम्मीद है कि ठाठापुर से जोगी अपने नये पार्टी के नाम की घोषणा कर दे.

वहीं, भाजपा कांग्रेस के घर में लगी इस आग से अपने हाथ सेंकने की तैयारी में है. एकबारगी ऐसा लगता है कि 2013 के विधानसभा चुनाव में महज 0.70 फीसदी मतो से भाजपा से पीछे रह जाने वाली कांग्रेस की खाई और बढ़ जाने वाली है. दूसरी तरफ जोगी के समर्थक दावा कर रहें हैं कि इससे नुकसान सत्तारूढ़ भाजपा को होगा.

छत्तीसगढ़ बनने के करीब 16 सालों बाद अजीत जोगी जिन्हें कांग्रेस ने छत्तीसगढ़ का पहला मुख्यमंत्री बनाया था कांग्रेस को ही नया दल बनाकर विधिवत खुली चुनौती देंगे.

2018 के विधानसभा चुनाव के समय छत्तीसगढ़ की राजनीतिक स्थिति तथा राजनीतिक दलों की स्थिति क्या होगी यह अभी से नहीं कहा जा सकता परन्तु इतना तय है कि छत्तीसगढ़ की राजनीति नया करवट ले रही है. जिसमें सत्ता के तीन दावेदार उभर कर सामने आये हैं- भाजपा, जोगी और कांग्रेस. इनमें से कौन पहले, दूसरे तथा तीसरे नंबर पर रहेगा यह अभी आने वाले कल के गर्भ में सुरक्षित है. परन्तु इतना तय है कि जोगी के ताल ठोंकने से भाजपा तथा कांग्रेस दोनों अपने नफ़े-नुकसान का आकलन करने को बाध्य हो गये हैं.

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