कृषि

भीगे धान की खरीदी से समिति का इंकार

रामानुजगंज | संवाददाता: रामानुजगंज जिले की आदिम जाति भवरमाल सहकारी समिति Šधान खरीदी केंद्र में किसानों के भीगे हुए धान की खरीदी करने से प्रबंधक द्वारा इंकार किए जाने से किसानों में काफी गुस्सा है.

बताया जा रहा है कि अचानक 5 जनवरी को बीते शाम बारिश होने से खरीदे गए Šधान सहित समितियों में Šधान बेचने आये किसानों के हजारों बोरी Šधान भींग गए. समिति में बिक्री करने लाये किसानों के Šधान को भींगे होने के कार‡ण प्रबंŠधक द्वारा खरीदने से इंकार करने पर अब किसान सकते में आ गए.

इसके अलावा दूसरे दिन 6 जनवरी को भी मौसम को देखते हुये समिति द्वारा खरीदी नहीं करने से किसानों में हड़कंप मच गया. किसी तरह किसानों के फरियाद के बाद दोपहर 2 बजे से प्रबंŠधक के द्वारा Šधान खरीदी शुरू की गई, जहां भींगे Šधान नहीं लेने से किसानों में आक्रोश देखा गया.

किसानों ने समिति पर आरोप लगाते हुए बताया कि हमेशा Šधान माफियाओं का अड्डा बने व झारखंड से Šधान ला कर समिति में खपाये जाने को लेकर सुर्खियों में रहने वाला भवरमाल समिति में अभी तक 15638.80 क्विंटल Šधान की खरीदी की जा चुकी है, जबकि शासन के द्वारा मा˜त्र 12.60 क्विंटल ही Šधानों का उठाव समिति से किया गया है.

इसमें अचानक बारिश होने से खरीदी गये Šधान और 23 दिसंबर से लाए गए किसानों के Šधान अभी तक तौल नहीं होने पर भींग गया.

इस संबंŠध में भावेस सरकार, रज्जाक ,सितल साहू, नरेंद्र हलदार सहित कई किसानों ने बताया कि हम लोग 23 दिसंबर से ही समिति में Šधान लाये हुए है, परंतु अभी तक Šधान की खरीदी नहीं हो पाया है. किसानों ने कहा कि असरदार लोगों की Šधान तˆकाल खरीदी किया जाता है, परंतु हम लोगों की Šधान अभी तक खरीदी नहीं की गई है.

इन किसानों का कहना है कि मंडी के अधिकारियों की मिलीभगत से झारखंड का अनाज लाकर इन समितियों में विक्रय किया जा रहा है. उनका कहना है कि ऐसे धान माफयियों की वजह से स्थानीय किसानों को काफी नुकसान ठाना पड़ रहा है.

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